IPL Governing Council Meeting Update: इंडियन प्रीमियर लीग (Indian Premier League) के 13वें एडिशन के आयोजन को लेकर आईपीएल गवर्निंग काउंसिल (IPL GC) के सदस्य आज रविवार को बैठक करेंगे. भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) आईपीएल को संयुक्त अरब अमीरात (UAE) में कराने के लिए तैयार है. आईपीएल चेयरमैन बृजेश पटेल (Brijesh Patel) की अगुआई वाली संचालन परिषद के 10 सूत्री एजेंडे में सरकार की मंजूरी की स्थिति सबसे ऊपर है. इसके अलावा स्वास्थ्य सुरक्षा के लिए फूलप्रूफ मानक परिचालन प्रक्रिया पर चर्चा और चीनी प्रायोजकों के संबंध में बात की जाएगी.
बैठक में इनके शामिल होने की उम्मीद
बैठक में बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली (Sourav Ganguly) और सचिव जय शाह (दोनों का ‘कूलिंग ऑफ’ समय में छूट का मामला उच्चतम न्यायालय में है) कोषाध्यक्ष अरुण धूमल और संयुक्त सचिव जयेश जॉर्ज के साथ स्थायी आमंत्रित सदस्यों के तौर पर हिस्सा लेने की उम्मीद है.
गृह मंत्रालय और विदेश मंत्रालय से हरी झंडी मिलने का इंतजार
संचालन परिषद (जीसी) के बारे में जानकारी रखने वाले बीसीसीआई के शीर्ष अधिकारी ने नाम नहीं बताने की शर्त पर पीटीआई से कहा, ‘हर कोई गृह मंत्रालय और विदेश मंत्रालय से टूर्नामेंट के यूएई में कराए जाने को लेकर हरी झंडी का इंतजार कर रहा है.’
वीवो 440 करोड़ रुपये देता है
पता चला है कि चीन की मोबाइल कंपनी ‘वीवो’ के साथ करार के भविष्य को लेकर भी चर्चा होगी जो टाइटल प्रायोजन के लिए 440 करोड़ रुपये देता है.
सबसे अहम पहलू एसओपी होगा
इन सबमें सबसे अहम पहलू होगा मानक परिचालन प्रक्रिया (SOP), जो फ्रेंचाइजी को सोमवार को होने वाली चर्चा के लिये सौंपी जाएगी जिसमें वे अपनी चिंताओं से संबंधित सवाल उठा सकते हैं.
बैठक में आईपीएल एजेंडे के मुख्य बातें इस प्रकार होंगी. पिछली तीन बैठकों के मिनट को स्वीकृति. सरकार की मंजूरी का इंतजार, हालांकि यूएई सरकार से अधिकारिक स्वीकृति का भी इंतजार है जो एमिरेट्स क्रिकेट बोर्ड द्वारा हासिल की जाएगी.
51 दिन का होगा या 53 दिन का
तीसरा टूर्नामेंट का कार्यक्रम – टूर्नामेंट 19 सितंबर से शुरू होकर या तो 51 दिन का होगा या फिर 53 दिन का, अगर फाइनल को 10 सितंबर को कराया जाता है जिससे प्रसारकों को दिवाली के हफ्ते का फायदा मिल जायेगा.
चौथा- चीनी प्रायोजक के संबंध में फैसला. वीवो टाइटल प्रायोजक (VIVO) है जबकि पेटीएम, ड्रीम 11, बाईजूस और स्विगी में चीनी निवेश है. भारत और चीन के बीच मौजूदा तनाव को देखते हुए इस मुद्दे पर भी चर्चा होगी. पूरी संभावना है कि वीवो अपना मौजूदा अनुबंध पूरा करेगा जिससे बीसीसीआई को एक साल में 440 करोड़ रूपये मिलते हैं और अंतिम समय में नया प्रायोजक ढूंढना मुश्किल होगा.
पांचवा एसओपी-इसके लिए 240 पेज का दस्तावेज तैयार किया जा चुका है जो फ्रेंचाइजी को दिया जायेगा. इसमें कोविड-19 परीक्षण से लेकर जैव सुरक्षित माहौल बनाने के बारे में सुरक्षा संबंधित उपाय शामिल हैं. इसमें टीम की संख्या को लेकर भी निर्देश होंगे जिनके 40 तक सीमित होने की संभावना है.
बीसीसीआई की एसओपी को फ्रेंचाइजी द्वारा अपग्रेड किया जा सकता है, लेकिन वे इसे कम नहीं कर सकते. पता चला है कि बीसीसीआई परिवारों को ले जाने के संबंध में फैसला फ्रेंचाइजी पर छोड़ देगा.
स्वास्थ्य संबंधित संकट छाया हुआ है
छठा- आईपीएल जीसी (IPL GC) के सदस्यों को यात्रा करने का मौका मिलेगा या नहीं. सामान्य रूप से वे यात्रा करते हैं लेकिन जब स्वास्थ्य संबंधित संकट छाया हुआ है तो सदस्यों को यात्रा करने की अनुमति दी जायेगी या नहीं.
अधिकारी ने कहा, ‘‘आईपीएल जीसी में कुछ सीनियर नागरिक भी हैं और यात्रा में जोखिम होगा या नहीं, इस पर काफी विचार की जरूरत होगी. ’’
सातवां- खिलाड़ी की जगह किसी अन्य को शामिल करना. अगर मूल टीम में खिलाड़ी यात्रा नहीं कर पाता है तो उसकी जगह खिलाड़ी को कैसे शामिल किया जायेगा. जैसे दक्षिण अफ्रीका की सीमा इस समय बंद है और क्विंटन डि कॉक, कागिसो रबाडा, इमरान ताहिर और एबी डिविलियर्स जैसे खिलाड़ी अपनी फ्रेंचाइजी टीमों के लिये अहम हैं.
एसीयू की सेवाएं ले सकता है बोर्ड
आठवां- बीसीसीआई की भ्रष्टाचार रोधी इकाई (ACU) की गतिविधियां. अधिकारी ने कहा, ‘‘संभावना है कि बीसीसीआई अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद की एसीयू टीम को रखकर उनकी सेवाए ले सकता है और उन्हें उनकी सेवाओं का भुगतान करेगा. ’’
नौंवा- बीसीसीआई (bcci) की अपनी चिकित्सा इकाई को यूएई लेकर जायेगा या फिर वहीं पर चिकित्सकों की टीम तैयार करेगा.
दसवां- उन विशेषज्ञों के साथ बैठक जिन्होंने इंग्लैंड एवं वेल्स क्रिकेट का जैव सुरक्षित माहौल तैयार किया है. इंग्लैंड ने हाल में वेस्टइंडीज के खिलाफ जैव सुरक्षित माहौल में श्रृंखला खत्म की है और अभी आयरलैंड से खेल रहा है जिसके बाद पाकिस्तान के खिलाफ श्रृंखला खेली जाएगी. आईपीएल का आयोजन 19 सितंबर से यूएई में किया जाएगा.