72 बार गलती बार-बार चेतावनी, फिर भी नहीं सुधरीं डीन- अब बहा रहे हैं घड़ियाली आंसू
दीप्ति शर्मा ने चार्ली डीन को रन आउट करने के फैसले का बचाव करते हुए सोमवर को कहा कि इंग्लैंड टीम की इस बल्लेबाज को आउट करने से पहले कई बार आगाह किया गया था।
भारतीय महिला क्रिकेट टीम इन दिनों पुरुष क्रिकेट टीम से ज्यादा सुर्खियों में हैं। इसके पीछे एक नहीं बल्कि कई वजहें हैं। भारतीय महिला टीम ने 24 सितंबर को लॉर्ड्स में खेले गए तीसरे वनडे मुकाबले में मेजबान इंग्लैंड को 16 रनों से हराया। इसके साथ ही भारतीय महिला टीम इंग्लैंड का उसी के घर में पहली बार वनडे सीरीज में 3-0 से सूपड़ा साफ करने में कामयाब रही। इस शानदार जीत के साथ ही दिग्गज गेंदबाज झूलन गोस्वामी की क्रिकेट के मैदान से विदाई हो गई। इस मैच में भारतीय गेंदबाज दीप्ति शर्मा ने इंग्लिश खिलाड़ी चार्ली डीन को रन आउट किया जिसने एक बड़े विवाद का रुप ले लिया।
दरअसल, तीसरे वनडे मैच में 44वां ओवर फेंकने के लिए दीप्ति शर्मा को गेंद सौंपी गई। इस ओवर की तीसरी गेंद फेंकते समय दीप्ति ने देखा कि नॉन-स्ट्राइकर एंड पर खड़ी चार्ली अपनी क्रीज से बाहर चली गई हैं। दीप्ति ने इस मौके का फायदा उठाते हुए चार्ली को मांकडिंग ‘रन-आउट’ कर दिया। इस तरह इंग्लैंड की पूरी टीम 43.3 ओवर में 153 रनों पर ढेर हो गई। इसके बाद भारतीय टीम के जीतने के तरीके पर सवाल उठने लगे। इस मामलें में दीप्ति शर्मा ने एक बड़ा खुलासा किया है।
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दीप्ति शर्मा ने चार्ली डीन को रन आउट करने के फैसले का बचाव करते हुए सोमवर को कहा कि इंग्लैंड टीम की इस बल्लेबाज को आउट करने से पहले कई बार आगाह किया गया था। दीप्ति ने नॉन स्ट्राइक छोर पर गेंदबाजी करने से पहले आगे निकल गई डीन को रन आउट किया जिससे भारत यह मैच जीतने में सफल रहा। चार्ली डीन तब 47 रन पर खेल रही थी और इंग्लैंड को जीत के लिए 17 रन की दरकार थी। यह रन आउट खेल के नियमों के अनुसार था लेकिन इंग्लैंड के खिलाड़ी इससे खुश नहीं थे।
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दीप्ति के इस तरीके ने एक बार फिर से ‘खेल भावना’ को लेकर बहस शुरू कर दी। दीप्ति ने इंग्लैंड से लौटने के बाद कहा, ‘‘यह हमारी योजना थी क्योंकि वो बार-बार ऐसा कर रही थी हम पहले ही उसे चेतावनी दे चुके थे। हमने नियमों और दिशानिर्देशों के मुताबिक अपना काम किया।’’
रन आउट के इस तरीके को फिलहाल ‘अनुचित तरीके’ में रखा गया है लेकिन अगले महीने से लागू होने वाले आईसीसी खेल के नियमों में इसे ‘रन आउट’ की श्रेणी में कर दिया जाएगा। दीप्ति ने कहा कि टीम के खिलाड़ियों ने डीन को आउट करने से पहले अंपायर को भी उनके बार-बार क्रीज से बाहर निकलने के बारे में बताया था।
उन्होंने कहा, ‘‘अंपायर को बोला था हम लोगों ने, फिर भी वह बाहर निकल रही थी। ऐसे में हम लोग कुछ नहीं कर सकते थे।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हर टीम को जीतना होता है। उनके आखिरी मैच में हम चाहते थे कि हम जीत के साथ उन्हें विदाई दे। उसके हिसाब से टीम के तौर पर हम जो कर सकते थे वह हमने किया।’’
इस बीच ईएसपीएन क्रिकइन्फो के एक विश्लेषण (Analysis) में बड़ा खुलासा हुआ है जिससे पता चला है कि तीसरे मैच में चार्ली डीन ने गेंदबाज के गेंद छोड़ने से पहले ही कई बार क्रीज छोड़ी थी। ईएसपीएनक्रिकइंफो के पीटर डेला पेन्ना ने अपने इस विश्लेषण में डीन के बल्लेबाजी के लिए आने के बाद से इंग्लैंड की पारी की हर डिलीवरी की जाँच की जिसमें उन्होंने पाया कि चार्ली डीन एक या 2 बार नहीं बल्कि पूरे 72 बार क्रीज से जल्दी बाहर निकली और आखिरकार 73वें मौके पर रन आउट हो गई।
चार्ली डीन 18वें ओवर में बल्लेबाजी करने आई और 44वें ओवर की तीसरी गेंद पर रन आउट होकर पवेलियन लौट गई। उन्होंने कुल 80 गेंदे खेली।