ऐंड्रू सायमंड्स को याद कर सचिन ने किया भावक ट्वीट, बोले...
सचिन ने सायमंड्स को याद कर ट्वीट किया और कहा- वह न सिर्फ कमाल के ऑलराउंडर थे बल्कि मैदान पर काफी ऐक्टिव रहते थे।
महान बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर ने ऑस्ट्रेलियाई ऑलराउंडर ऐंड्रू सायमंड्स के निधन पर गहरा शोक जताया है. सायमंड्स का शनिवार रात क्वींसलैंड में कार दुर्घटना में निधन हो गया. सचिन ने सायमंड्स को मैदान पर जिंदा दिल बताया है.
सचिन ने रविवार सुबह ट्वीट किया, ‘ऐंड्रू सायमंड्स का निधन एक गहरा सदमा है. हम सबको इसे जब्त करना काफी मुश्किल है. वह न सिर्फ एक शानदार ऑलराउंडर थे, बल्कि मैदान पर हमेशा ऐक्टिव रहते थे. मुंबई इंडियंस के लिए हमने जो साथ वक्त बिताया उसे लेकर हमारी कुछ बहुत अच्छी यादें हैं. ईश्वर उनकी आत्मा को शांति दे. परिवार और दोस्तों के लिए मेरी संवेदनाएं.’
46 साल के सायमंड्स अपनी कार में अकेले सवार थे. जब टाउन्सविले के थोड़ा बाहर उनकी कार दुर्घटनाग्रस्त हो गई.
साल 2008 के सिडनी टेस्ट, जिसमें ऑस्ट्रेलिया ने 122 रन से जीत हासिल की थी. उस मैच में सचिन नॉन-स्ट्राइकर छोर पर थे जब हरभजन सिंह और सायमंड्स के बीच विवाद हुआ था. इस घटना को ‘मंकीगेट कांड’ के रूप में याद किया जाता है.
सायमंड्स ने हरभजन पर आरोप लगाया था कि उन्होंने बहस के दौरान उन्हें मंकी यानी बंदर कहा है. इसके बाद यह मामला इतना बढ़ गया कि भारत ने दौरा रद्द करके वापस आने की धमकी भी दे दी थी. दरअसल, पहले हरभजन को तीन टेस्ट के लिए सस्पेंड कर दिया गया था.
तेंदुलकर ने शुरुआत में कहा था कि उन्होंने कुछ नहीं सुना लेकिन बाद में उन्होंने जांच समिति के सामने कहा था कि हरभजन ने असल में सायमंड्स को एक हिंदी गाली थी, जिसे सायमंड्स ने कुछ और सुन लिया.
तब के ऑस्ट्रेलियाई कप्तान रिकी पोंटिंग ने मैच रेफरी माइक प्रॉक्टर से शिकायत की थी कि हरभजन ने सायमंड्स को ‘मंकी’ कहा है. पोंटिंग ने हरभजन और तब के भारतीय कप्तान अनिल कुंबले से माफी मांगने की मांग की थी.
इसके बाद हरभजन पर तीन टेस्ट मैचों का बैन लगा दिया गया था. और फिर दोनों बोर्ड आमने-सामने आ गए थे. आईसीसी ने न्यूजीलैंड के हाई कोर्ट जज जॉन हेनसन को हरभजन मामले की सुनवाई के लिए चुना. हेनसन ने सचिन की बात पर भरोसा जताते हुए नस्लवादी कॉमेंट के आरोप खारिज कर दिए थे.