क्या कोहली ने 'घबराकर' लिया संन्यास, पूर्व इंग्लिश क्रिकेटर की बात के मायने समझिए
नई दिल्ली: विराट कोहली ने टेस्ट क्रिकेट से संन्यास लिया है. और उनके, रोहित शर्मा और रविचंद्रन अश्विन के बिना भारतीय टीम इंग्लैंड दौरे पर गई है. इंग्लैंड के पूर्व फिरकी गेंदबाज मोंटी पनेसर ने कोहली के रिटायरमेंट पर एक बड़ी टिप्पणी की है. विराट कोहली ने लिया टेस्ट क्रिकेट से संन्यास विराट कोहली के…
Virat-Kohli
नई दिल्ली: विराट कोहली ने टेस्ट क्रिकेट से संन्यास लिया है. और उनके, रोहित शर्मा और रविचंद्रन अश्विन के बिना भारतीय टीम इंग्लैंड दौरे पर गई है. इंग्लैंड के पूर्व फिरकी गेंदबाज मोंटी पनेसर ने कोहली के रिटायरमेंट पर एक बड़ी टिप्पणी की है.
विराट कोहली ने लिया टेस्ट क्रिकेट से संन्यास
विराट कोहली के टेस्ट क्रिकेट से अचानक संन्यास लेने से कई लोग हैरान थे. कई जानकारों का मानना था कि यह पूर्व भारतीय कप्तान अभी कुछ साल और क्रिकेट खेल सकता था. लेकिन कोहली ने 12 मई 2025 को टेस्ट क्रिकेट को अलविदा कह दिया. कोहली ने 123 टेस्ट मैचों में 9230 रन बनाए. वह टेस्ट क्रिकेट से 770 रन दूर रह गए.
इंग्लैंड के पूर्व स्पिनर मोंटी पनेसर ने बताई कोहली की कमजोरी
इंग्लैंड के पूर्व स्पिनर मोंटी पनेसर ने बताया कि आखिर कोहली ने क्यों संन्यास लेने का फैसला किया. साल 2012 में इंग्लैंड को टेस्ट सीरीज में जीत दिलवाने वाले बाएं हाथ के इस फिरकी गेंदबाज ने कोहली की कमजोरी की ओर इशारा किया.
कोहली के संघर्ष पर क्या बोले इंग्लैंड के पूर्व स्पिनर मोंटी पनेसर
पनेसर ने कहा कि कोहली जो लगातार ऑफ स्टंप के बाहर की गेंद पर स्ट्रगल कर रहे थे शायद इस समस्या का समाधान नहीं मिलने के कारण ही उन्होंने संन्यास का फैसला किया. उन्होंने कहा कि कोहली को इंग्लैंड के अपने पिछले दौरों की तुलना में ऑफ स्टंप के आसपास घूमती गेंदों से निपटना अधिक कठिन लगता.
2014 में जेम्स एंडरसन ने किया खूब परेशान
कोहली ने 2014 के खराब दौरे के बाद 2018 में इंग्लैंड में शानदार वापसी की. वर्ष 2014 में जेम्स एंडरसन ने इस दिग्गज बल्लेबाज को काफी परेशान किया.
मोंटी पनेसर ने कहा, कोहली नहीं निकाल पाए कोई रास्ता
बाएं हाथ के पूर्व स्पिनर पनेसर ने पीटीआई से कहा, ‘कोहली के साथ जो हुआ है वह यह है कि ऑफ स्टंप के बाहर की गेंद, पांचवें स्टंप की लाइन, विशेषकर ऑस्ट्रेलिया में तेज उछाल वाली पिचों पर वह संघर्ष कर रहे थे.
क्या इंग्लैंड में खेलने से 'घबरा गए' कोहली!
उन्होंने कहा, ‘इसलिए उन्होंने शायद सोचा होगा कि इंग्लैंड में गेंद और ज्यादा स्विंग करेगी, उन्होंने शायद ऑफ स्टंप के बाहर की गेंद पर समस्या का समाधान नहीं निकाला. मुझे लगता है कि शायद यही एक कारण रहा होगा कि उन्होंने संन्यास लेने और अपनी सारी ऊर्जा आरसीबी (रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु) और भारत के लिए एकदिवसीय क्रिकेट में लगाने के बारे में सोचा.’
'अब वापसी करना होता मुश्किल, 2018 की बात अलग'
पनेसर ने कहा कि कोहली के पास 2018 में वापसी करने के लिए जवाब थे लेकिन अपने करियर के इस पड़ाव पर ऐसा करना स्वाभाविक रूप से बहुत कठिन होगा. उन्होंने कहा, ‘मुझे लगता है कि उन्होंने सभी फॉर्मेट में एक क्रिकेटर के रूप में बहुत अच्छा प्रदर्शन किया है. वे टेस्ट क्रिकेट के शानदार दूत रहे हैं. उन्हें शायद लगता है कि उन्होंने अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया है, उन्होंने सब कुछ हासिल किया है और शायद उन्हें लगता है कि युवाओं के लिए आगे आने का समय आ गया है.’
कोहली के पास कोई समाधान नहीं
पनेसर ने कहा, ‘कोहली के लिए 2018 के प्रदर्शन को दोहराना बहुत कठिन होगा. एक साधारण तथ्य यह है कि वह पिछले 12 से 18 महीनों से ऑफ स्टंप के बाहर की गेंद पर जूझ रहे हैं. उनके पास इसका कोई समाधान नहीं है, आप जानते हैं कि चौथे और पांचवें स्टंप पर उन्हें क्या समस्या है.’