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DDCA Election: आनन फानन में लिया गया चुनाव रद्द करने का फैसला, बताई गई ये वजह

17 से 20 अक्‍टूबर तक डीडीसीए चुनाव होने थे.

DDCA Election: आनन फानन में लिया गया चुनाव रद्द करने का फैसला, बताई गई ये वजह
Updated: October 10, 2020 9:11 PM IST | Edited By: Sandeep Gupta

दिल्ली एवं जिला क्रिकेट संघ (डीडीसीए) के 17 से 20 अक्टूबर तक होने वाले चुनावों को निर्वाचन अधिकारी नवीन बी चावला ने शनिवार को महासचिव विनोद तिहाड़ा के कथित ‘हस्तक्षेप’ के कारण रद्द कर दिया।

यह फैसला दोपहर में लिया गया और भारत के पूर्व मुख्य निर्वाचन आयुक्त चावला ने एक नोटिस जारी किया जिसका मतलब है कि रोहन जेटली को पद संभालने के लिये कुछ समय के लिये इंतजार करना होगा।

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पूर्व वित्त मंत्री दिवंगत अरूण जेटली के बेटे रोहन का निर्विरोध नया डीडीसीए अध्यक्ष बनना तय था जबकि भारतीय क्रिकेट बोर्ड (बीसीसीआई) के पूर्व कार्यकारी अध्यक्ष सीके खन्ना की पत्नी शशि कोषाध्यक्ष बनने की प्रबल दावेदार थीं।

चावला ने सभी सदस्यों को दी सूचना में कहा, ‘‘डीडीसीए के सचिव के गैर जिम्मेदाराना और गैर कानूनी कार्यों को देखते हुए लोकपाल न्यायाधीश दीपक वर्मा से आज दोपहर डेढ़ बजे सलाह मिलने के बाद मुझे इन चुनावों को रद्द करने के लिये विवश होना पड़ रहा है। सभी संबंधित लोगों को सूचित किया जायेगा। ’’

पता चला है कि महासचिव तिहाड़ा ने वोटर सदस्यों को एक चुनावी सूचना जारी की जिसमें असाधारण आम बैठक (ईजीएम) के एजेंडे में बदलाव करने की मांग की गयी जिसका चुनाव एक हिस्सा है।

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पता चला है कि तिहाड़ा बैठक के मुद्दों में एक को हटाना चाहते थे जिसमें मौजूदा संयुक्त सचिव राजन मनचंदा को दिखाना था कि उनके पास अपने कार्यालय और साथ ही डीडीसीए की सदस्यता बरकरार रखने के लिये 51 प्रतिशत सदस्यों का समर्थन है।

यह पिछले साल हुई एजीएम के संदर्भ में था जिसमें तिहाड़ा और मनचंदा की अपने समर्थकों के साथ एक दूसरे से हाथापाई हो गयी थी।

हालांकि रोहन डीडीसीए की कमान संभालने को तैयार थे तो दोनों अधिकारियों ने पुराने मुद्दे को खत्म कर दिया इसलिये तिहाड़ा संशोधन चाहते थे।

चावला ने कड़े शब्दों में तिहाड़ा को पत्र लिखकर हस्तक्षेप का आरोप लगाया। उन्होंने लिखा, ‘‘आपके पास चुनाव के एजेंडे या चुनावों के कार्यक्रम में संशोधन करने का कोई अधिकार नहीं है क्योंकि यह अब पूरी तरह से ‘निर्वाचन अधिकार’ के अधिकार क्षेत्र में आता है। ’’

तिहाड़ा से बात करने की कोशिश की गयी, लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया।

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