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भारतीय तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी (Mohammad Shami) यूं तो शानदर गेंदबाजी करते हैं लेकिन टेस्ट मैच की दूसरी पारियों में उनके आंकड़ें उनकी असली काबिलियत के गवाह हैं। इस पर शमी का कहना है कि जब टेस्ट की दूसरे पारी में बाकी खिलाड़ी थक जाते हैं तब वो अपने प्रदर्शन के स्तर को ऊपर उठाते हैं।
अपने टेस्ट करियर में अब तक शमी पहली पारी में 32.50 की औसत से 92 विकेट लिए हैं, जबकि दूसरी पारी में उन्होंने महज 21.98 की औसत से 88 विकेट चटकाए हैं।
दक्षिण अफ्रीका के 2017-18 दौरे पर शमी ने अपने 15 में से 12 विकेट दूसरी पारी में लिए थे। इसी से पता चलता है कि दूसरी पारी में उनके खेल में किस तरह का बदलाव आता है।
ईएसपीएनक्रिकइंफो के एक कार्यक्रम में शमी ने कहा, ‘‘मैं दूसरी पारी में खेल का इस्तेमाल बहुत होशियारी से करता हूं। जैसे हाल ही में हम विशाखापट्टनम (दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ) में खेले थे, जहां मुझे पांच विकेट मिले, पिच काफी बेजान थी और जरूरी उछाल भी नहीं मिल रहा था। आपको परिस्थितियों का चालाकी से उपयोग करने की जरूरत होती है। मैं आमतौर पर दूसरी पारी में ज्यादा जोश मे होता हूं जब दूसरे खिलाड़ी थक जाते हैं।’’
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