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ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मैच से पहले 3 महीने से किट में गुलाबी गेंद लेकर घूम रही थी स्मृति मंधाना, ये है कारण
भारतीय बल्लेबाज स्मृति मंधाना ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ ऐतिहासिक दिन रात्रि टेस्ट क्रिकेट मैच के बारिश से प्रभावित पहले दिन नाबाद 80 रन बनाए हैं।
Written by India.com Staff
Last Published on - September 30, 2021 8:39 PM IST

भारतीय महिला टीम (Indian women team) की सलामी बल्लेबाज स्मृति मंधाना (Smriti Mandhana) ने गुलाबी गेंद से अच्छी तरह परिचित होने के लिए पिछले तीन महीनों से ऐसी गेंद अपने किट बैग में लेकर चल रही थी। मंधाना ने ये बयान ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ एकमात्र डे-नाइट टेस्ट मैच के पहले दिन अर्धशतकीय पारी खेलने के बाद दिया।
दिन का खेल खत्म होने के बाद उन्होंने कहा, ‘‘हमने केवल दो सीजन में गुलाबी गेंद से अभ्यास किया। मैं हंड्रेड (इंग्लैंड) में खेलकर आई थी और मुझे गुलाबी गेंद से खेलने का अधिक मौका नहीं मिला था लेकिन हंड्रेड के दौरान मैंने गुलाबी कूकाबूरा गेंद मंगाई। मैंने उसे अपने कमरे में रखा क्योंकि मैं जानती थी कि हम डे-नाइट टेस्ट मैच में खेलेंगे और इसलिए मैं गेंद देखकर उसे समझना चाहती थी।’’
उन्होंने कहा, ‘‘मैंने वास्तव में इससे बल्लेबाजी नहीं की। मैंने केवल दो सीजन में इससे बल्लेबाजी की लेकिन पिछले ढाई-तीन महीने से गुलाबी गेंद मेरे किट बैग में थी। मैं नहीं जानती कि मैंने उसे क्यों रखा हुआ था। मुझे अभ्यास के लिये समय मिलने की उम्मीद थी लेकिन ऐसा नहीं हो पाया।’’
मंधाना ने अपने टेस्ट करियर का सर्वोच्च स्कोर बनाया जिससे भारतीय महिला टीम ने एक विकेट पर 132 रन बनाए हैं। गुलाबी गेंद से खेले जा रहे टेस्ट मैच की तैयारियों के बारे में मंधाना ने कहा, ‘‘मुझे नहीं लगता कि हमें इसको लेकर काम करने का अधिक समय मिला। हम केवल कोशिश कर रहे हैं। बाहर बैठे लोगों ने मेरा दिन भर उत्साह बनाये रखा। उससे मदद मिली।’’
भारतीय सलामी बल्लेबाज ने कहा कि उन्होंने केवल गेंद का अच्छी तरह से आकलन करके अपने शॉट खेले। उन्होंने कहा, ‘‘मैं स्कोर बोर्ड नहीं देखना चाहती थी तथा मैंने खुले मन से खेलने का प्रयास किया। गेंद का आकलन करके उसे उसी हिसाब से खेला। मैंने वास्तव में कोई रणनीति नहीं बनायी थी। ’’
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मंधाना शतक के बारे में भी नहीं सोच रही हैं। वह केवल क्रीज पर टिके रहने और टीम को मजबूत स्कोर तक पहुंचाने में मदद करने पर ध्यान दे रही है। उन्होंने कहा, ‘‘अभी मैं शतक के बारे में नहीं सोच रही हूं। टीम के लिये अभी जरूरी है कि मैं क्रीज पर टिकी रहूं। मेरा ध्यान केवल गेंद पर उसे अच्छी तरह से खेलने पर है।’’