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मेरा काम रन बनाना है सेलेक्शन के बारे में सोचना नहीं: प्रियांक पांचाल

पांचाल के दो शतकों की मदद से इंडिया रेड ने इंडिया ग्रीन को 170 रनों से हराया था।

user-circle cricketcountry.com Written by Gunjan Tripathi
Last Updated on - September 12, 2017 12:25 PM IST

प्रियांक पांचाल  © AFP
प्रियांक पांचाल © AFP

दिलीप ट्रॉफी के पहले मैच में इंडिया रेड के नायक रहे प्रियांक पांचाल का कहना है कि वह केवल रन बनाने के बारे में सोचते हैं क्योंकि यही उनका काम है। पांचाल को हाल ही में न्यूजीलैंड ए टीम के खिलाफ दो चार दिवसीय मैचों की सीरीज के लिए भारत ए टीम में जगह दी गई है। पांचाल को पहले भारत ए के साउथ अफ्रीका दौरे पर भी टीम में जगह दी गई थी लेकिन डेंगू की वजह से वह मैच नहीं खेल पाए थे। इस बारे में गुजरात के इस क्रिकेटर का कहना है कि, “मैं इसे दुर्भाग्य की तरह नहीं देखता। भारत ए टीम में खेलना एक अच्छा अनुभव होता क्योंकि इससे खेल की प्रतिद्वंदिता एक स्तर बढ़ जाती। आपको दवाब में खेलने का मौका मिलता है जिससे बतौर क्रिकेटर आप और मजबूत बनते हैं। लेकिन मैं भारत ए या सीनियर टीम के बारे में नहीं सोचता, मेरा काम केवल रन बनाना है।” [ये भी पढ़ें: पाकिस्तान में खेलने के लिए सबसे पहले तैयार हो गए थे इमरान ताहिर]

दिलीप ट्रॉफी के दौरान पहली बार डे-नाइट मैच खेल रहे पांचाल को गुलाबी गेंद से खेलने में कोई परेशानी नहीं हुई। पांचाल ने दो पारियों में दो शतक जड़े। जिसकी मदद से उनकी टीम इंडिया रेड ने विपक्षी इंडिया ग्रीन को 170 रनों के बड़े अंतर से हराया। रात के समय खेलने के बारे में पांचाल ने कहा, “ये साधारण ही था। हवा में कोई अतिरिक्त गति नहीं थी। मैं बाएं हाथ के स्पिनर्स के खिलाफ हॉफ वॉली गेंदो पर आगे जाकर फ्रंट फुट पर खेलने की कोशिश कर रहा था। मैने ये बात अपनी डायरी में भी लिख ली है। मैं ज्यादातर पुरानी बातों के बारे में नहीं सोचता। हर नया सीजन नई चुनौती लाता है। एक क्रिकेटर के तौर पर मेरा सफर लगातार काम करना और अपनी गलतियों से सीखना ही है।” [ये भी पढ़ें: हमारी सुरक्षा व्यवस्था राष्ट्रपति जैसी थी: फाफ डु प्लेसी]

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2016-17 रणजी सीजन के सबसे ज्यादा रन बनाने वाले बल्लेबाज होने के बाद भी पांचाल को आईपीएल में मौका नहीं मिला। इस बारे में उन्होंने कहा, “रणजी और दूसरे घरेलू टूर्नामेंट की तरह आईपीएल भी टीम इंडिया में जगह बनाने का प्लेटफॉर्म है। हार्दिक पांड्या की सफलता इस बात का सबूत है। आईपीएल के प्रदर्शन की वजह से उन्हें पहले वनडे टीम में मौका मिला और फिर वह टेस्ट टीम का हिस्सा बने। कोई भी युवा खिलाड़ी आईपीएल खेलना चाहेगा लेकिन मौका ना मिलने से परेशान होने का कोई मतलब नहीं।” 27 साल के पांचाल इस समय केवल रन बनाने पर ध्यान देना चाहते हैं।