This website uses cookies so that we can provide you with the best user experience possible. Cookie information is stored in your browser and performs functions such as recognising you when you return to our website and helping our team to understand which sections of the website you find most interesting and useful.
J&K के विजय हजारे ट्रॉफी से बाहर होने पर इरफान पठान बोले...
जम्मू कश्मीर में धारा-370 हटने के बाद कर्फ्यू के कारण अधिकारियों का कश्मीर के खिलाड़ियों से संपर्क नहीं हो पाया।
Written by Press Trust of India
Last Updated on - August 19, 2019 11:12 PM IST

जम्मू-कश्मीर क्रिकेट के मेंटर इरफान पठान ने सोमवार को कहा कि राज्य में संचार सुविधाओं पर लगाई रोक के कारण टीम के घरेलू टूर्नामेंट से हटने के बाद बीसीसीआई ने मदद का वादा किया है।
इरफान ने कहा, ‘‘उम्मीद करते हैं कि इसका आगामी सत्र पर असर नहीं पड़ेगा। मेरी बीसीसीआई से बात हुई और वे कोई भी मदद करने को तैयार हैं। वे कोई भी फैसला करने में मदद करेंगे। संभव है कि शायद चीजें सामान्य होंगी और हमें कहीं और नहीं जाना पड़ेगा।’’
पढ़ें:- साउथ अफ्रीका ए के खिलाफ पांच मैचों की वनडे सीरीज के लिए टीम का ऐलान
जम्मू-कश्मीर क्रिकेट संघ (जेकेसीए) को आगामी विजय हजारे ट्राॅफी से हटना पड़ा क्योंकि राज्य से विशेष दर्जा छीने जाने के बाद संचार सुविधाओं पर लगी रोक के कारण खिलाड़ियों से संपर्क नहीं हो पा रहा था।
हितों के टकराव से जुड़े मुद्दे पर बैठक के बाद पठान ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘हम (जम्मू-कश्मीर टीम) विजय हजारे ट्राॅफी के लिए नहीं जा रहे। जमीनी हकीकत यह है कि हम तैयारी के लिए लड़कों को टूर्नामेंट में खेलने के लिए भेजना चाहते थे (लेकिन ऐसा नहीं हो पाया)।’’
भारतीय टीम से बाहर चल रहे इस ऑलराउंडर ने बताया कि टीम ने आगामी सत्र के लिए तैयारी शुरू कर दी थी लेकिन घाटी में कर्फ्यू लगे होने के कारण उनकी योजना बाधित हो गई।
पढ़ें:- पाकिस्तानी बल्लेबाज बोला- मैंने की थी स्पॉट फिक्सिंग, मुझे माफ कर दो…
उन्होंने बताया, ‘‘हमने 14 जून से शिविर शुरू किया और एक महीने ट्रेनिंग की। मैं शिविर के लिए एक ट्रेनर को लेकर गया जो भारतीय टीम के साथ काम कर चुका है। हमारे कोच ने कड़ी मेहनत की और फिटनेस स्तर में काफी सुधार हुआ।’’
TRENDING NOW
पठान ने कहा, ‘‘लेकिन जब मैच शुरू हुए तो हमें ट्रेनिंग रोकनी पड़ी क्योंकि कर्फ्यू लागू कर दिया गया और इसलिए सभी खिलाड़ियों को वापस भेजना बेहतर था।’’